राष्ट्रपति चुनाव में द्रौपदी मुर्मू के पक्ष में समर्थन जुटाने गुंडरदेही विधायक के घर पहुंचे आदिवासी समाज एवम भाजपाई

वामन साहू
राष्ट्रपति पद के लिए 18 जुलाई को चुनाव है। राष्ट्रपति पद के लिए भाजपा नीत गठबंधन एनडीए द्वारा द्रौपदी मुर्मू को उम्मीदवार बनाया गया है। उनके पक्ष में गुंडरदेही आदिवासी समाज एवम भाजपा द्वारा कांग्रेस सहित सभी दलों से समर्थन मांगा जा रहा है। इस संबंध में गुंडरदेही विधानसभा के भाजपा संगठन के पदाधिकारी और कार्यकर्ता गुंडरदेही विधायक कुँवर निषाद के अर्जुन्दा स्थित निवास पहुंचे। आदिवासी समाज एवम भाजपा नेताओं ने शहर के कांग्रेस विधायक कुँवर निषाद के निवास पहुंचकर उन्हें महिला सशक्तिकरण की दिशा में आदिवासी महिला को सर्वोच्च स्थान तक पहुंचाने उनका समर्थन व मतदान हेतु आग्रह पत्र सौंपकर द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति बनाने अपना मतदान देने का निवेदन किया।
इस अवसर पर आदिवासी समाज के विक्रम धुर्वे, आदिवासी समाज के जिलाध्यक्ष राजेन्द्र राय, देवलाल ठाकुर, होरीलाल रावटे, थानसिंह मंडावी, रामलाल नायक, प्रदीप ठाकुर, संतोष तारम, छबिलाल कोर्राम आदिवासी समाज से उपस्थित थे वही पूर्व विधायक वीरेन्द्र साहू, भाजपा के पदाधिकारी किशोरी साहू, नरेश यदु, अश्वनी यदु, जयेश ठाकुर, जिला पंचायत सदस्य पुष्पेंद्र चंद्राकर, शिव धरमगुड़े, टोमन साहू, प्रणेश जैन, टीनेश्वर बघेल, दुष्यंत सोनवानी, पवन सोनवर्षा, विश्वास गुप्ता, सौरभ चोपड़ा, भानुमति साहू, हेमन्त साहू, अनिल सोनी, सुभाष पुष्कर, टीकाराम सांवरे, हेमलाल देशलहरा, युवा मोर्चा के पंकज चौधरी, श्रीकांत वर्मा, टूमन साहू, श्यामसुन्दर साहू, देवेंद्र सिन्हा, देवेंद्र साहू, विश्वजीत तिवारी, देवेंद्र जोशी, दयाराम सिन्हा, प्रकाश सांवरे, देवा सोनकर, सहित नेता एवं कार्यकर्ता उपस्थित थे। इस
आदिवासी समाज ने मांगा विधायक से व्यक्तिगत वोट - आदिवासी समाज के प्रमुखों ने कहा कि गुंडरदेही विधानसभा में 75हजार वोटर आदिवासी है यह सम्मान आदिवासियों का है . द्रौपदी मुर्मू भारत की पहली ऐसी आदिवासी महिला है जिन्होंने बेहद ही कठिन व संघर्षमय चुनौतियों के बीच राजनीति व समाज सेवा का कार्य करते हुए अपनी विशिष्ट स्थान बनाई है । उन्होंने अपने जीवनकाल में परिवार से पति व पुत्रों को खोने के बाद भी हिम्मत नहीं हारी बल्कि समाज सेवा व मानव सेवा को अपना कर्तव्य मानकर निरंतर कार्य करती रही ।वे गरीब आदिवासी समाज से आने के बावजूद महिलाओं व दूसरों के लिए प्रेरणा है ऐसे व्यक्तित्व का भारत के सर्वोच्च पद राष्ट्रपति पद पर विराजित होना आदिवासी समाज ही नहीं बल्कि दलित वंचित गरीब व सभी वर्गों के लिए अनुपम उदाहरण होगा इसलिए कांग्रेसी विधायकों को भी दलगत भावना से ऊपर उठकर उन्हें समर्थन करना चाहिए।
विधायक ने पार्टी आलाकमान का हवाला दिया- आदिवासी समाज ने राष्ट्रपति उम्मीदवार के समर्थन पर विधायक कुँवर सिंह निषाद ने कहा मैं व्यक्तिगत कुछ नही कह सकता यह मेरे समर्थन पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पार्टी के शीर्ष नेतृत्व जो तय करेंगे उसी आधार पर मेरा मत होगा। आदिवासी प्रमुखों ने विधायक से व्यक्तिगत वोट समर्थन की बात कहा तो विधायक पार्टी की आलाकमान की बात कहकर बचने की कोशिश किया।